मालदीव बना पहला देश जिसने मातृ-शिशु संक्रमण पर पाई जीत | हेती में भूख से जूझती आधी आबादी
मालदीव ने HIV, सिफ़लिस और हेपेटाइटिस बी के तिहरे संक्रमण पर पाया नियंत्रण
- WHO ने मालदीव की सार्वजनिक स्वास्थ्य उपलब्धि को बताया ऐतिहासिक
- हेती में मानवीय संकट गहराया, आधी आबादी भूख से त्रस्त
- महिलाओं और बच्चों में कुपोषण के बढ़ते मामले, UN एजेंसियों की चेतावनी
मालदीव ने माँ से बच्चे में होने वाले HIV, सिफ़लिस और हेपेटाइटिस बी संक्रमणों का उन्मूलन किया है। वहीं हेती में भूख और कुपोषण से हालात बदतर होते जा रहे हैं। पढ़िए संयुक्त राष्ट्र समाचार की यह ख़बर....
मालदीव में स्वास्थ्य मोर्चे पर बड़ी सफलता, हेती में भूख से बदहाल आम नागरिक
मालदीव पहला ऐसा देश बन गया है जहाँ माँ से बच्चे में होने वाले एचआईवी, सिफ़लिस और हेपेटाइटिस बी, इन तिहरे संक्रमणों का उन्मूलन करने में सफलता मिली है. उधर, हेती में विश्व खाद्य कार्यक्रम (WFP) ने चेतावनी दी है कि महिलाओं, बच्चों और विस्थापित परिवारों को भूख व कुपोषण का दंश झेलना पड़ रहा है.
विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) ने देश के लिए इसे एक असाधारण सार्वजनिक स्वास्थ्य उपलब्धि क़रार दिया है.
हिन्द महासागर क्षेत्र में स्थित द्वीपीय देश, मालदीव को माताओं से बच्चों में फैलने वाले एचआईवी संक्रमण और सिफ़लिस को रोकने में पहले ही सफलता मिल चुकी थी, और अब यह हेपेटाइटिस बी के लिए भी सम्भव हो गया है.
यूएन स्वास्थ्य एजेंसी के महानिदेशक टैड्रॉस एडहेनॉम घेबरेयेसस ने कहा कि मालदीव ने दर्शा दिया है कि मज़बूत राजनैतिक इच्छाशक्ति और मातृत्व व बाल स्वास्थ्य में सतत निवेश के ज़रिए इन घातक बीमारियों, संक्रमणों व उनसे होने वाली पीड़ा का उन्मूलन सम्भव है.
माताओं से बच्चों में होने वाले संचारण से हर साल दुनिया भर में संक्रमण के लाखों मामले दर्ज किए जाते हैं.
वर्ष 2024 में, केवल दक्षिण पूर्वी एशिया क्षेत्र में ही, आठ हज़ार से अधिक नवजात शिशुओं ने सिफ़लिस संक्रमण के साथ जन्म लिया था.
25 हज़ार से अधिक एचआईवी पीड़ित गर्भवती महिलाओं को अपने नवजात शिशुओं को संक्रमण से बचाने के लिए उपचार की आवश्यकता होती है. वहीं, इस क्षेत्र में हेपेटाइटिस बी से 4.2 करोड़ लोग प्रभावित हैं.
यूएन स्वास्थ्य एजेंसी ने मातृत्व, बाल और किशोर स्वास्थ्य के मोर्चे पर प्रगति के लिए मालदीव को हरसम्भव समर्थन मुहैया की बात कही है.
हेती में रिकॉर्ड स्तर पर भूख
आपराधिक गुटों की हिंसा से त्रस्त हेती में व्याप्त मानवीय संकट के बीच, विश्व खाद्य कार्यक्रम (WFP) ने चेतावनी दी है कि महिलाओं, बच्चों और विस्थापित परिवारों को भूख व कुपोषण का दंश झेलना पड़ रहा है.
संयुक्त राष्ट्र समर्थित एक खाद्य सुरक्षा आकलन के अनुसार, कैरीबियाई क्षेत्र में स्थित देश में रिकॉर्ड स्तर पर भूख संकट से लोग पीड़ित हैं.
यूएन खाद्य कार्यक्रम की कार्यकारी निदेशक सिंडी मैक्केन ने अपने एक ट्वीट सन्देश में क्षोभ जताया कि हेती की आधी आबादी को भरपेट भोजन नहीं मिल रहा है.
“जहाँ 57 लाख लोग गम्भीर स्तर पर भूख का सामना कर रहे हैं, बाल कुपोषण के मामले केवल दो वर्षों में दोगुने हो गए हैं.”
पाँच वर्ष से कम आयु के 14 प्रतिशत बच्चे कुपोषण का शिकार हैं, और कुछ इलाक़ों में इससे भी अधिक दर दर्ज की गई है.
यूएन एजेंसी ने बताया कि सशस्त्र गुटों की हिंसा, आर्थिक बदहाली, मुद्रास्फीति और ख़राब कृषि उत्पादन की वजह से हेती में संकट गहरा होता जा रहा है.
WFP ने 22 लाख लोगों तक मदद पहुँचाई लेकिन यह पर्याप्त नहीं है. इसके मद्देनज़र, संगठन ने अगले 12 महीनों में ज़रूरतमन्द परिवारों को समर्थन मुहैया कराने के इरादे से 13.9 करोड़ डॉलर की अपील जारी की है.
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